NFO: निप्पॉन इंडिया म्यूचुअल फंड ने मैन्युफैक्चरिंग-थीम पर आधारित दो नई स्कीमें लॉन्च कीं

Nippon India Mutual Fund launches two new manufacturing-themed schemes

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मुंबई: निप्पॉन इंडिया म्यूचुअल फंड ने भारत के बढ़ते औद्योगिक गति का लाभ उठाने के लिए मैन्युफैक्चरिंग सेक्टर पर केंद्रित दो नई योजनाओं (NFO) की शुरुआत की है। ये योजनाएं हैं — निप्पॉन इंडिया निफ्टी इंडिया मैन्युफैक्चरिंग ETF और निप्पॉन इंडिया निफ्टी इंडिया मैन्युफैक्चरिंग इंडेक्स फंड। दोनों स्कीमें 6 अगस्त से 20 अगस्त 2025 तक निवेश के लिए खुली रहेंगी।


स्कीम का उद्देश्य और इंडेक्स का स्वरूप

इन दोनों योजनाओं का लक्ष्य निफ्टी इंडिया मैन्युफैक्चरिंग इंडेक्स को ट्रैक करना है। यह इंडेक्स उन कंपनियों का प्रतिनिधित्व करता है जो मैन्युफैक्चरिंग-लिंक्ड सेक्टर्स में काम करती हैं। इसमें शामिल प्रमुख सेक्टर हैं:

  • कैपिटल गुड्स

  • ऑटोमोबाइल्स

  • मेटल्स

  • केमिकल्स

  • हेल्थकेयर

  • और अन्य विनिर्माण संबंधित उद्योग

यह इंडेक्स AMFI सेक्टर फ्रेमवर्क के आधार पर तैयार किया गया है और इसमें सेक्टरल डाइवर्सिटी बनाए रखने के लिए कैपिंग मैकेनिज्म और न्यूनतम आवंटन की शर्तें लागू की गई हैं। उदाहरण के लिए, ऑटो और कैपिटल गुड्स सेक्टर के लिए न्यूनतम आवंटन सुनिश्चित किया गया है।

Nippon India Mutual Fund launches two new manufacturing-themed schemes
Nippon India Mutual Fund launches two new manufacturing-themed schemes

योग्य कंपनियों का चयन निफ्टी 100, निफ्टी मिडकैप 150 और निफ्टी स्मॉलकैप 50 इंडेक्स यूनिवर्स से किया जाता है, जिससे बड़े, मध्यम और छोटे सभी आकार की कंपनियों का संतुलित प्रतिनिधित्व हो सके।


भारत में मैन्युफैक्चरिंग का बढ़ता महत्व

इस लॉन्च का समय बेहद अहम है, क्योंकि भारत में मैन्युफैक्चरिंग सेक्टर को लेकर नीति और बाजार दोनों स्तरों पर बड़ा बदलाव देखा जा रहा है।

  • फिलहाल मैन्युफैक्चरिंग का भारत के GDP में 17% योगदान है।

  • 2026 तक इस क्षेत्र का उत्पादन 1 ट्रिलियन डॉलर तक पहुंचने का अनुमान है।

  • “चाइना-प्लस-वन” रणनीति के तहत वैश्विक निर्माता भारत को चीन के विकल्प के रूप में देख रहे हैं।

सरकार की PLI योजना, मेक इन इंडिया और गति शक्ति जैसे कदमों से इस सेक्टर में पूंजी निवेश लगातार बढ़ रहा है। बीते एक दशक में मैन्युफैक्चरिंग सेक्टर में प्रत्यक्ष विदेशी निवेश (FDI) 69% बढ़ा है।

साथ ही, भारत की अनुकूल वेतन संरचना, प्रतिस्पर्धी कर दरें, और 68% कार्यशील आयु जनसंख्या (मध्य आयु 28.2 वर्ष) इस क्षेत्र की वृद्धि को और तेज़ कर रही हैं।


निवेशकों के लिए विकल्प और लाभ

निप्पॉन इंडिया की यह पेशकश ETF और इंडेक्स फंड दोनों रूपों में उपलब्ध होगी, जिससे निवेशकों को लचीलापन मिलेगा।

  • ETF: स्टॉक एक्सचेंज पर सूचीबद्ध, जिससे निवेशक दिनभर के कारोबार में खरीद-बिक्री कर सकते हैं।

  • इंडेक्स फंड: SIP (सिस्टेमेटिक इन्वेस्टमेंट प्लान) के माध्यम से नियमित निवेश का विकल्प।

दोनों ही प्रारूप कम लागत, नियम-आधारित निवेश, इंडेक्स की पूर्ण पारदर्शिता और कम ट्रैकिंग एरर की सुविधा देंगे।


बाजार पर असर और दीर्घकालिक दृष्टिकोण

भारत की औद्योगिक वृद्धि में मैन्युफैक्चरिंग सेक्टर की भूमिका आने वाले वर्षों में और बढ़ने वाली है। संगठित खिलाड़ियों के पास पूंजी, तकनीक और वितरण नेटवर्क होने के कारण वे इस अवसर का अधिकतम लाभ उठा सकते हैं।

म्यूचुअल फंड के ज़रिए निवेशक इस विकास यात्रा में अप्रत्यक्ष रूप से भागीदार बन सकते हैं। खासकर, जो निवेशक थीमैटिक और सेक्टरल निवेश में रुचि रखते हैं, उनके लिए यह NFO एक आकर्षक विकल्प है।


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By MFNews